प्राचीन दुनिया के अजूबे प्राचीन दुनिया के इंजीनियरिंग और स्थापत्य कौशल के उत्कृष्ट उदाहरण हैं। आधुनिक दुनिया के अजूबे भी मानव कौशल और रचनात्मकता के अद्भुत उदाहरण हैं। वे दुनिया भर के लोगों को आकर्षित करते हैं और मानव सभ्यता के इतिहास और संस्कृति में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।
इस दुनिया में केवल 7 ही अजूबों को चुना गया है। अगर आप भी केवल ताजमहल को ही जानते हैं तो आपको बता दे की ताजमहल के लावा भी 6 अजूबे और हैं जो की विश्व के अलग अलग देशों में स्थित हैं। वैसे आपको बता दें की प्राचीन काल से अजूबों को चुना जा रहा है, सबसे पहले 2200 साल पहले हेरोडोटस और कल्लिमचुस को अजूबों को चुनने का आइडिया आया था।
हालाँकि इनके द्वारा जो भी अजूबे चुने गए वो सब अब नष्ट हो गए हैं उनमे से केवल Great Pyramid of Giza अजूबा ही वर्तमान में बच रखा है। अगर आपको भी इन अजूबों के बारे में बिल्कुल भी नहीं पता तो आज हम आपको इस आर्टिकल के माध्यम से आपको बताएंगे की Duniya Ke Saat Ajoobe Ke Naam क्या है ? दुनिया में अजूबों को कैसे चुना गया था ? दुनिया में कितने अजूबे हैं ? और बताएंगे की इन अजूबों का इतिहास क्या है ? आज हम अपने आर्टिकल के माध्यम से विश्व के सात अजूबों के बारे में विस्तृत चर्चा करेंगे इसलिए हमारे आर्टिकल को पूरा पढ़ें।
दुनिया के सात अजूबे (7 Wonders of The World)
दुनिया में ऐसे कई प्रकार के अजूबे हैं जो की प्रकृति के द्वारा तथा कुछ मनुष्यों के द्वारा बनाए गए हैं, इंसानों के द्वारा बनाए गए अजूबे वास्तव में काफी आश्चर्यजनक तथा अकल्पनीय हैं इनमें से जो भी अजूबे काफी लोकप्रिय हैं उनको दुनिया के 7 अजूबों की लिस्ट में शामिल किया गया है। इंसानों के द्वारा अपने इतिहास में अपनी अद्भुत कला तथा कार्यों को दिखाया है की जिनपर विश्वास करना भी मुश्किल है।
आज भी हम टेक्नोलॉजी की सहायता से इतनी अद्भुत कलाकारियों को बड़ी ही बारीकी से नहीं बना सकते। यह अजूबे काफी कबिले तारीफ हैं, इनसे हम यह जान सकते हैं कि तब के इंसान आज के इंसानों से काफी एडवांस थे।
दुनिया के सात अजूबों को कैसे चुना?
यह सवाल आपके दिमाग में भी कभी न कभी आया ही होगा की आखिर कार दुनिया के इन सात अजूबों को किस प्रकार चुना गया होगा, क्योंकि कोई भी इंसान अथवा फाउंडेशन अपनी मर्जी से इसे लिस्ट में नहीं चुन सकता। प्राचीन काल से ही अजूबों का चयन करने का प्रचलन चल रहा है लेकिन वे सभी समय के साथ नष्ट हो गए हैं, वर्तमान में दुनिया के अजूबों को चुनने के लिए एक विशेष प्रकार की प्रक्रिया को चुना गया। स्विट्जरलैंड की एक संस्था के द्वारा 1999 से 2000 तक एक वेबसाइट का निर्माण किया गया जिसमे की 200 से अधिक विश्व धरोहरों को शामिल किया गया।
इसके बाद विश्व के सभी लोगों को इसमें vote करने के लिए कहा गया जिसमें से 100 मिलियन से भी अधिक लोगों ने vote किया था। इस voting का रिजल्ट 2007 में आया था और जिन भी धरोहरों को सबसे अधिक vote मिले थे उन्हें दुनिया के सात अजूबों के रूप में चुना गया था, और इन्हें 7 Wonders of The World घोषित कर दिया गया था जिसे की पुरे विश्व के द्वारा माना गया था।
7 Wonders of The World Highlights
दुनिया के सात अजूबों की लिस्ट हमारे द्वारा नीचे बताई गयी है
क्रम संख्या | अजूबे का नाम | देश |
1 | ताजमहल (Taj Mahal) | भारत |
2 | चीन की दीवार (Great Wall of China) | चीन |
3 | पेट्रा (Petra) | जार्डन |
4 | कोलोज़ीयम (The Roman Colosseum) | इटली |
5 | माचू पिच्चु (Machu Picchu) | पेरू |
6 | क्राइस्ट रिडीमर (Christ The Redeemer Statue) | ब्राज़ील |
7 | चिचेन इट्जा (Chichen Itza) | मेक्सिको |
अब हम आपको दुनिया के अजूबों के बारे में विस्तार पूर्वक नीचे बताएंगे जिससे आप जान पाओगे की कौन सा अजूबा कब बन कर तैयार हुआ तथा यह अजूबे किस-किस देश में हैं।
1. ताजमहल (दुनिया के सात अजूबे)
- अजूबा का नाम :- ताजमहल
- संबंधित देश :- भारत
- निर्माण वर्ष :- 1631–1653 ई.
यह अजूबा भारत के उत्तर प्रदेश राज्य के अगरा में स्थित है। ताजमहल को मुग़ल बादशाह शाहजँहा ने अपनी पत्नी मुमताज बेगम की याद में बनाया था जिसकी मृत्यु 1631 में बच्चे को जन्म देते वक्त हुई थी। ताजमहल का निर्माण कार्य 1632 में शुरू हुआ था तथा 1653 में जाकर इसका निर्माण पूर्ण हो गया था। इसे बनने में करीबन 21 वर्ष का समय लगा था। ताजमहल को बनाने के लिए लगभग 20000 मज़दूरों ने कार्य किया था और कहते हैं की एक बार ताजमहल बन जाने के बाद शाहजँहा के द्वारा मज़दूरों के हाथ कटवा दिए गए थे जिससे की वे यह इमारत दुबारा न बना सके।
ताज महल को बनाने के लिए शाहजँहा ने पूरी दुनिया से संगमरमर के पत्थरों को मंगवाया था, पूरा ताज महल सफ़ेद संगमरमर के पत्थरों से बना हुआ है। इसके चारों और बगीचा भी बना हुआ है इसे देखने के लिए पर्यटक पूरे विश्व से घूमने के लिए आते हैं।
2. चीन की दीवार
- अजूबा का नाम :- चीन की दीवार
- संबंधित देश :- चीन
- निर्माण वर्ष :- 5 वीं शताब्दी से 16 वीं शताब्दी के बीच
चीन की दीवार को उत्तरी हमलावरों से बचाने के लिए विभिन्न राज्यों के कई शासकों के द्वारा बनाया गया था। यह दीवार करीबन 21,196 किलोमीटर लम्बी है जो की दुनिया की सबसे लम्बी दीवार है। इस दीवार को बनाने में लगभग 20 से लेकर 30 लाख लोगों ने अपनी पूरी जीवन लगा दिया था और कहा जाता है की जो भी मज़दूर कड़ी मेहनत नहीं करता था उसे इसी दीवार में दफनाया जाता था इसलिए इसे दुनिया का सबसे बड़ा कब्रिस्तान भी कहा जाता है।
3. पेट्रा (Petra)
- अजूबा का नाम :- पेट्रा
- संबंधित देश :- जॉर्डन
- निर्माण वर्ष :- 309 ईसा पूर्व
पेट्रा जॉर्डन के मआन राज्य में बसा हुआ एक ऐतिहासिक नगर है जो कि बड़ी-बड़ी चट्टानों तथा पत्थरों को तराश कर बनाए गए इमारतों के लिए जानी जाती है। इस नगर में आपको केवल पत्थर तथा चट्टानों से तराशी गयी इमारतें ही दिखाई देंगी। माना जाता है कि इसका निर्माण 1200 ईसा के आसपास शुरू हुआ था। यहां की चटाने लाल रंग की होती हैं इसलिए इसे (Rose City) के नाम से भी जाना जाता है। पेट्रा जॉर्डन का सबसे लोकप्रिय पर्यटक स्थल है जहाँ प्रत्येक वर्ष विश्व के लाखों पर्यटक घूमने के लिए जाते हैं।
4. कोलोज़ीयम
- अजूबा का नाम :- कोलेजियम
- संबंधित देश :- इटली
- निर्माण वर्ष :- 70 ई. से 72 ई. के बीच
इटली के रोम नगर के मध्य में स्थित कोलेजियम एक विशाल स्टेडियम है जहाँ पर प्राचीन समय में जानवरों की लड़ाई, योद्धाओं की लड़ाई, खेल कूद, सांस्कृतिक कार्यक्रम इत्यादि चीजें हुआ करती थी। कोलेजियम का निर्माण उस समय के शासक वेस्पियन के द्वारा 70 ई. से 72 ई. के बीच में शुरू कराया गया था तथा 80 वीं शताब्दी में इसे सम्राट टाइटस के द्वारा पूरा कराया गया था। इसमें करीबन 50 हजार से लेकर 80 हजार तक की जनता आसानी से बैठ सकती थी।
5. माचू पिच्चु 7 Wonders of The World
- अजूबा का नाम :- माचू पिच्चु
- संबंधित देश :- पेरू
- निर्माण वर्ष :- 1430 ई.
माचू पिच्चू अजूबा दक्षिण अमेरिकी देश पेरू में स्थित है। यह एक ऐतिहासिक स्थल है जहां कोलम्बस पूर्व युग, इंका सभ्यता रहती थी। समुद्र तल से इसकी ऊंचाई करीबन 2430 मीटर है। ऐसा माना जाता है की इसका निर्माण 1400 ई. के आस पास राजा पचाकुती के द्वारा किया गया था इस स्थान पर बाद में स्पेन के द्वारा विजय प्राप्त कर ली गयी थी।
6. क्राइस्ट रिडीमर (दुनिया के सात अजूबे)
- अजूबा का नाम :- क्राइस्ट रिडीमर
- संबंधित देश :- ब्राज़ील
- निर्माण वर्ष :- 1922 से 1931 में
क्राइस्ट रिडीमर अजूबा ब्राज़ील देश के रियो डी जेनेरो में स्थित एक ईसा मसीह की प्रतिमा है। यह दुनिया की सबसे ऊँची मूर्तियों में से एक है। इस मूर्ति की कुल ऊंचाई 130 फिट तथा चौड़ाई 98 फिट है। इस मूर्ति का वजन लगभग 635 टन माना जाता है। इस मूर्ति का डिजाइन एक फ्रेंच के मूर्तिकार लेनदोव्सकी के द्वारा बनाया गया था और 1922 से 1931 के बीच इस मूर्ति का निर्माण कार्य किया गया था।
7. चिचेन इट्जा
- अजूबा का नाम :- चिचेन इट्जा
- संबंधित देश :- मैक्सिको
- निर्माण वर्ष :- 514 ई. पूर्व
चिचेन इट्जा मेक्सिको का सबसे प्राचीन तथा विश्व प्रसिद्ध मयान मंदिर है यह मंदिर लगभग 5 किलोमीटर के दायरे में फैला हुआ है। इसका निर्माण 600 ईसा के पूर्व हुआ था, यह एक पिरामिड के आकर के जैसा है। इसकी ऊंचाई 79 फुट है और इसके ऊपर जाने के लिए चारों तरफ से सीढ़ियां बनाई गयी हैं। इसकी हर दिशा में 91 सीढ़ियाँ हैं।
दुनिया के सात अजूबे से सबंधित प्रश्न एवं उत्तर
दुनिया में कितने अजूबे हैं?
दुनिया में वर्तमान में सात अजूबे हैं।
दुनिया में सबसे पहले किसके द्वारा अजूबे की लिस्ट को चुना गया था?
दुनिया में सबसे पहले 2200 साल पहले हेरोडोटस और कल्लिमचुस को अजूबों को चुनने का आइडिया आया था।
सात अजूबों के नाम क्या-क्या हैं?
दुनिया में सात अजूबे चीन की महान दीवार, ताज महल, कोलोज़ीयम, माचू पिच्चु, क्राइस्ट रिडीमर, चिचेन इत्जा, पेट्रा हैं।